Aligarh
बजरंगदल ने शस्त्र पूजन कर बनाया विजयदशमी का पर्व।:
बजरंगदल अलीगढ़ द्वारा विजयादशमी के अवसर पर परंपरागत शस्त्र पूजन कार्यक्रम अलीगढ़ महानगर के धनीपुर स्थित महादेव वाटिका पर सायं को वरिष्ठ समाजसेवी राधेश्याम सिंह की अध्यक्षता में संपन्न हुआ । कार्यक्रम में उपस्थित अतिथियों बजरंगदल पदाधिकारी वारे कार्यकर्ताओं ने सामुहिक रूप से विधिवत शस्त्र पूजन किया । कार्यक्रम अध्यक्ष राधेश्याम सिंह ने कहा कि सनातन धर्म में साहस का प्रदर्शन केवल धर्म रक्षा के लिए ही उपयोग किया जाना निश्चित है। य़ह हमारी शक्ति भी है और कमजोरी भी, शक्ति का प्रयोग समाज व संस्कृति का विनाश करने वालों के लिए कठोरता से होना चाहिए । कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित अशोक चौधरी ने कहा कि शस्त्र और शास्त्र को समान रूप से अधिगृहित करना ही सनातन धर्म का मूल दर्शन है क्योंकि बिना शास्त्र के समाज का परिष्करण नहिं होता और शास्त्र के बिना समाज का रक्षण असम्भव है अत: हमें धर्म समाज व संस्कृति की रक्षा के लिए शस्त्र धारण करना अनिवार्य है । सनातन संस्कृति में शक्ति की आराधना को सृष्टि का आधार माना गया है, इसी कारण सनातन संस्कृति में वर्ष में दो बार नवरात्र के आयोजन का विधान है। कार्यक्रम को संबोधित करने हुए बजरंगबल के संयोजक गौरव शर्मा ने कहा कि आज वैश्विक स्तर पर विभिन्न संस्कृतियों का हिंसक टकराव है, प्रधानमन्त्री श्री मोदी जी के नेतृत्व में निरन्तर विकास की ओर अग्रसित भारत राष्ट्र को विखंडित कर यहाँ इस्लामिक शासन कायम करने को पीएफआई अलकायदा लश्करे तैयबा जैसी कुछ राष्ट्रविरोधी शक्तियां सक्रिय है। ऐसी परिस्थिति में केवल सत्ता के भरोसे नहीं जीया जा सकता, हमें सक्रिय रहते हुए सनातन संस्कृति पर आघात करने वालों से लड़ना होगा। उन्होंने कहा कि इस्लामिक कट्टरपंथियों द्वारा देश भर में जिस प्रकार की हिंसक वारदातें हो रहीं है वह चिंता जनक है और 1946 का भयावह दृश्य उत्पन्न कर रहीं है । बजरंगदल का संकल्प है कि वह शासन सत्ता से अधिकतम तालमेल बनाते हुए ऐसी शक्तियों के विरुद्ध संघर्ष करेगी। उन्होंने चेतावनी भरे लहजे में कहा कि इस्लामिक आतंकवाद से सारा विश्व प्रभावित है स्वयं 36 इस्लामिक राष्ट्र गृहयुद्ध का शिकार हैं। सीरियाई इराक अफगानिस्तान पाकिस्तान ईरान में घटित घटनाओं से हम अनभिज्ञ नहीं है, इसके साथ ही विश्व भार में हिन्दुओं पर योजनाबद्ध हमले हो रहे है। हमें स्थिति का मुकाबला करना होगा क्योंकि हम अपनी संतानों को सनातन धर्म अनुयायी ही रखना चाहते हैं। साथ ही सनातन मूल्यों की रक्षा के बिना मानव सभ्यता अक्षुण नहिं रखी जा सकती। कार्यक्रम संयोजक विशाल शर्मा ने सभी गणमान्य जनों व बड़ी संख्या में उपस्थित बजरंगियों का आभार व्यक्त किया।
10/04/2022 05:50 PM


















